ब्यूरो सुनील कुमार पांडेय
अयोध्या।रामनगरी अयोध्या ने भव्य दीपोत्सव पर एक बार फिर नया इतिहास बनाया है।भव्य दीपोत्सव गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज हो गया है।ये नया इतिहास रामनगरी में एक साथ 2512585 दीये जलने से बना है।वैसे तो हर साल रामनगरी में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भव्य दीपोत्सव का आयोजन करवाते हैं,लेकिन इस बार भव्य राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा होने के बाद सीएम योगी ने दीपोत्सव को बेहद खास बना दिया था।
इस बार दीपोत्सव को देखने के लिए और भगवान राम से साक्षात्कार करने के लिए लाखों की संख्या में देशी और विदेशी लोग रामनगरी पहुंचे हैं।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस बार होने वाले दीपोत्सव को लेकर कई महीने पहले ही शुरू तैयारी कर दी थी।संबंधित अधिकरियों के साथ मीटिंग कर कार्यक्रम की रूप रेखा तय की थी।तय किया गया था कि इस बार सरयू के विभिन्न तटों पर 28 लाख दीये जलाए जाएंगे।उसी समय सीएम ने तय किया था कि एक साथ इतने दीए जलाकर विश्व रिकार्ड बनाना है।इसके लिए सरयू के कुल 55 घाटों पर तैयारी की गई थी। 28 लाख तो नहीं,लेकिन 25 लाख 12 हजार से ज्यादा दीये जलाकर तय समय पर रामनगरी को रोशन कर दिया गया था।
दीपोत्सव बड़ा आयोजन था और इसे देखने के लिए देश विदेश के लोग भी रामनगरी पहुंचे थे।खुद गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड के अधिकारी भी दीपोत्सव को देखने पहुंचे थे। गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड के अधिकारी जरूरी औपचारिकताओं को पूरा करने के बाद दीपोत्सव को वर्ल्ड रिकार्ड में शामिल कर लिया।
दीपोत्सव को भव्य बनाने के लिए सरयू के 55 घाटों को ही नहीं, बल्कि 70 एकड़ के रामजन्मभूमि परिसर को भी फूल माला,तोरण द्वारा और दीयों से सजाया गया था।इस सजावट से रामजन्मभूमि खासतौर पर निर्माणाधीन राममंदिर दुल्हन की तरह दिखाई दे रही थी।इस बार दीपोत्सव में सभी दीये में 30 एमएल तेल भरा गया था।पिछले साल दीपोत्सव पर सभी दीयों में तेल की मात्रा 40 एमएल थी।सभी दीयों में 10 एमएल तेल की कटौती से इस बार दीपोत्सव में 91 हजार लीटर सरसों के तेल का इस्तेमाल हुआ।पिछले साल भी इतना ही तेल इस्तेमाल हुआ था,लेकिन इस बार दीयों की संख्या काफी बढ़ी थी।
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