नई दिल्ली।यमुना की सफाई और पेयजल आपूर्ति को लेकर मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शनिवार को ऐतिहासिक फैसला लिया है।सीएम रेखा ने दिल्ली जल बोर्ड को आर्थिक और प्रशासनिक स्वायत्तता का तोहफा दिया है।अब जल बोर्ड खुद 50 करोड़ तक की परियोजनाएं मंजूर और लागू कर सकेगा, इसके लिए कैबिनेट की मंजूरी की जरूरत नहीं होगी।
सीएम रेखा ने कहा कि हमने जल बोर्ड को असली बोर्ड बना दिया है।सीएम ने आरोप लगाते हुए कहा कि उनके फैसलों से यमुना और जल आपूर्ति योजनाएं ठप रहीं,अब
परिणाम-उन्मुख शासन,नालों और यमुना की सफाई तेजी से होगी,भ्रष्टाचार पर लगाम लगने के साथ-साथ जवाबदेही और पारदर्शिता बढ़ेगी।यह निर्णय दिखाता है कि जब राजनीतिक इच्छाशक्ति मजबूत होती है, तो जनहित में व्यापक, बड़े व प्रभावी निर्णय आसानी से लिए जा सकते हैं।
बता दें कि अध्यक्ष को 50 करोड़ रुपए,सीईओ को 25 करोड़ रुपए और अन्य अधिकारियों के वित्तीय स्वायत्तता में वृद्धि की गई है।इससे सबसे बड़ा फायदा यह हुआ है कि एसटीपी,डीसिल्टिंग प्लांट,पाइपलाइन और बूस्टिंग स्टेशन जैसे काम अब तेजी से होंगे।