बलरामपुर।उत्तर प्रदेश के बलरामपुर जिले का धर्म परिवर्तन जमालुद्दीन उर्फ छांगुर बहुत बड़े प्लान पर धर्म परिवर्तन करवा रहा था।लव जिहाद से हिंदू लड़कियों के धर्म परिवर्तन कराने के लिए छांगुर बाबा ने बाकायदा सीमावर्ती जिलों में झाड़फूंक करने वाले तांत्रिकों की एक टीम तैयार की थी। टीम बलरामपुर,श्रावस्ती और बहराइच में लगने वाले मेलों में भी सक्रिय रहती थी।छांगुर बाबा सीमा पार नेपाल के गंगापुर मेले में भी अपनी अंगूठी और ताबीज की दुकान लगवाता था। कई बार छांगुर बाबा खुद इसमें शामिल होता था।
श्रावस्ती में एक झाड़फूंक करने वाला तांत्रिक इससे जुड़ा हुआ था वह नग और अंगूठी बेचने का कारोबार करता था।उसे पुलिस ने नकली नोटों के मामले में जेल भी भेजा था। इंडो-नेपाल सीमा का बहराइच,श्रावस्ती की सीमा बेहद संवेदनशील है।इसका भी फायदा कई बार राष्ट्र विरोधी तत्वों ने उठाया है।सूत्रों के मुताबिक मुंबई धमाके के आतंकी इरफान उसका बेटा ईशा बाबागंज से गिरफ्तार हुए पाक जासूस मकसूद मुंबई कोर्ट से फरार आतंकी फखरपुर कस्बे के बीच पनाहगाह होने के मामले सामने आते रहे हैं।छांगुर बाबा के कनेक्शन बहराइच और श्रावस्ती में फैले हुए हैं। इसके स्लीपर सेल नकली नोटों में गिरफ्तार नूरी बाबा के सम्पर्क में रह रहे थे।
छांगुर ने पनामा में भी पंजीकृत कराई थी कंपनी
धर्म परिवर्तन माफिया छांगुर बाबा अपनी एक कम्पनी का पनामा गणराज्य में भी पंजीकृत कराया था। छांगुर बाबा के इस कम्पनी लोगोस मरीन से जुड़े दस्तावेज भी ईडी के हाथ लगे हैं।इसके पीछे छांगुर बाबा का उद्देश्य यह बताया जा रहा है कि वह अपनी एक कम्पनी का पनामा गणराज्य में इसलिए पंजीकरण कराया था कि ताकि वह यहां पर आसानी से शरण ले सके।बरहाल इसके पहले छांगुर के मंसूबों पर पानी फिर गया और वह अपने प्रमुख राजदारों के साथ गिरफ्तार हो गया।
अफसरों को संभालता था करीबी ईदुल इस्लाम
छांगुर बाबा का एक करीबी ईदुल इस्लाम है। इस्लाम बारे में यह बताया जा रहा है कि वह पुणे में रह रहा है। छांगुर का यह राजदार प्रशासनिक अमले को संभालने का काम करता था। इसी के जरिये छांगुर पुलिस और राजस्व के अधिकारियों को पैसा देता था। पुणे में बैठकर इस्लाम छांगुर की व्यवस्थाओं को संभालता था।इस्लाम का फोन आते ही स्थानीय पुलिस और राजस्व के अधिकारी सतर्क हो जाते थे। वह खुद को भारत प्रतीकार्य सेवा संघ नाम के संगठन का राष्ट्रीय महासचिव बताकर अधिकारियों पर रौब झाड़ता था। अब इस्लाम की भी करतूत सामने आ रही है। इस्लाम ने कई पुलिस और प्रशासन के कर्मचारियों को सुविधा शुल्क देकर अपने काम करवा लेता था।